ज्वलित व्यास, ईटीआईजी
देश के सबसे बड़े कमोडिटी एक्सचेंज MCX को गोल्ड के दाम में उतार-चढ़ाव बढ़ने का सबसे अधिक लाभ हुआ है। जुलाई और अगस्त के महीनों में पिछले साल की इसी अवधि की तुलना में एक्सचेंज पर गोल्ड का ट्रेडिंग वॉल्यूम तीन गुना बढ़ा है। पिछले दो महीनों में औसत मासिक वॉल्यूम भी जून तिमाही के मंथली वॉल्यूम से 70 प्रतिशत अधिक रहा है।
पिछले साल सितंबर तिमाही के पहले दो महीनों में एक्सचेंज पर जितनी ट्रेडिंग हुई थी, उसमें बुलियन (गोल्ड, सिल्वर और प्लेटिनम) का योगदान औसतन 21 प्रतिशत था, जो अब 38 प्रतिशत हो गया है। सिल्वर और क्रूड का ट्रेडिंग वॉल्यूम भी जुलाई और अगस्त महीने में MCX पर क्रमश: 100 और 68 प्रतिशत बढ़ा है। इससे एक्सचेंज की कुल ट्रेडेड वैल्यू इस दौरान 30 प्रतिशत सालाना बढ़ी है। शेयर विश्लेषकों का कहना है कि MCX की आमदनी में वित्त वर्ष 2020 में 30 प्रतिशत की बढ़ोतरी होगी, जिसमें से ज्यादातर उसके मुनाफे में जुड़ेगा। इससे कमोडिटी एक्सचेंज के मुनाफे में इस वित्त वर्ष में अच्छी उछाल आ सकती है।
जून तिमाही में भी कंपनी की प्रॉफिट ग्रोथ 40 प्रतिशत बढ़ी थी। इसमें कंपनी की ऑपरेटिंग इनकम में 9 प्रतिशत और कुल आमदनी में 30 प्रतिशत की बढ़ोतरी हुई थी। कंपनी की कुल इनकम में इंटरेस्ट इनकम में तेज बढ़ोतरी का बड़ा योगदान रहा है। इसमें कंपनी के पास जमा 1,500 करोड़ रुपये की नकदी से काफी मदद मिली। इसके साथ ऑपरेटिंग मार्जिन में बढ़ोतरी और एंप्लॉयी कॉस्ट कम रहने से MCX की नेट प्रॉफिट ग्रोथ 40 प्रतिशत पहुंच गई।
कंपनी को जून तिमाही में 80 करोड़ की ऑपरेटिंग इनकम और 40 करोड़ का शुद्ध मुनाफा हुआ। कंपनी की कुल आमदनी जून तिमाही में 111 करोड़ रुपये रही। गौर करने लायक बात यह है कि MCX पर ट्रेडिंग वैल्यू में जून के बाद बढ़ोतरी हुई है, इसलिए सितंबर तिमाही में कंपनी के मुनाफे में शानदार बढ़ोतरी होगी। बजट में 400 करोड़ रुपये से कम आमदनी वाली कंपनियों के लिए कॉरपोरेट टैक्स घटाकर 25 प्रतिशत किए जाने का भी MCX को फायदा होगा। विश्लेषकों के अनुमान के मुताबिक, वित्त वर्ष 2020 में MCX का मुनाफा 45 प्रतिशत तक बढ़ सकता है। इस हिसाब से अभी कंपनी के शेयरों में 22 के पीई पर ट्रेडिंग हो रही है, जबकि इसका ऐतिहासिक एवरेज 30 रहा है।
देश के सबसे बड़े कमोडिटी एक्सचेंज MCX को गोल्ड के दाम में उतार-चढ़ाव बढ़ने का सबसे अधिक लाभ हुआ है। जुलाई और अगस्त के महीनों में पिछले साल की इसी अवधि की तुलना में एक्सचेंज पर गोल्ड का ट्रेडिंग वॉल्यूम तीन गुना बढ़ा है। पिछले दो महीनों में औसत मासिक वॉल्यूम भी जून तिमाही के मंथली वॉल्यूम से 70 प्रतिशत अधिक रहा है।
पिछले साल सितंबर तिमाही के पहले दो महीनों में एक्सचेंज पर जितनी ट्रेडिंग हुई थी, उसमें बुलियन (गोल्ड, सिल्वर और प्लेटिनम) का योगदान औसतन 21 प्रतिशत था, जो अब 38 प्रतिशत हो गया है। सिल्वर और क्रूड का ट्रेडिंग वॉल्यूम भी जुलाई और अगस्त महीने में MCX पर क्रमश: 100 और 68 प्रतिशत बढ़ा है। इससे एक्सचेंज की कुल ट्रेडेड वैल्यू इस दौरान 30 प्रतिशत सालाना बढ़ी है। शेयर विश्लेषकों का कहना है कि MCX की आमदनी में वित्त वर्ष 2020 में 30 प्रतिशत की बढ़ोतरी होगी, जिसमें से ज्यादातर उसके मुनाफे में जुड़ेगा। इससे कमोडिटी एक्सचेंज के मुनाफे में इस वित्त वर्ष में अच्छी उछाल आ सकती है।
जून तिमाही में भी कंपनी की प्रॉफिट ग्रोथ 40 प्रतिशत बढ़ी थी। इसमें कंपनी की ऑपरेटिंग इनकम में 9 प्रतिशत और कुल आमदनी में 30 प्रतिशत की बढ़ोतरी हुई थी। कंपनी की कुल इनकम में इंटरेस्ट इनकम में तेज बढ़ोतरी का बड़ा योगदान रहा है। इसमें कंपनी के पास जमा 1,500 करोड़ रुपये की नकदी से काफी मदद मिली। इसके साथ ऑपरेटिंग मार्जिन में बढ़ोतरी और एंप्लॉयी कॉस्ट कम रहने से MCX की नेट प्रॉफिट ग्रोथ 40 प्रतिशत पहुंच गई।
कंपनी को जून तिमाही में 80 करोड़ की ऑपरेटिंग इनकम और 40 करोड़ का शुद्ध मुनाफा हुआ। कंपनी की कुल आमदनी जून तिमाही में 111 करोड़ रुपये रही। गौर करने लायक बात यह है कि MCX पर ट्रेडिंग वैल्यू में जून के बाद बढ़ोतरी हुई है, इसलिए सितंबर तिमाही में कंपनी के मुनाफे में शानदार बढ़ोतरी होगी। बजट में 400 करोड़ रुपये से कम आमदनी वाली कंपनियों के लिए कॉरपोरेट टैक्स घटाकर 25 प्रतिशत किए जाने का भी MCX को फायदा होगा। विश्लेषकों के अनुमान के मुताबिक, वित्त वर्ष 2020 में MCX का मुनाफा 45 प्रतिशत तक बढ़ सकता है। इस हिसाब से अभी कंपनी के शेयरों में 22 के पीई पर ट्रेडिंग हो रही है, जबकि इसका ऐतिहासिक एवरेज 30 रहा है।