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सुविधाओं के अनुसार तय होगी स्कूलों की फीस

सीबीएसई अपने स्कूलों का मूल्यांकन राष्ट्रीय मूल्यांकन एवं प्रत्यायन परिषद (नैक) की तर्ज पर कराएगा...

नवभारत टाइम्स 25 Oct 2017, 8:45 am
लखनऊ
नवभारतटाइम्स.कॉम CBSE-School

सीबीएसई अपने स्कूलों का मूल्यांकन राष्ट्रीय मूल्यांकन एवं प्रत्यायन परिषद (नैक) की तर्ज पर कराएगा। स्कूल में मौजूद सुविधाओं के तहत ही ग्रेड तय किया जाएगा और उसी आधार पर फीस भी तय होगी। मूल्यांकन में देखा जाएगा कि स्कूल में क्लास रूम की हालत कैसी है ? स्मार्ट क्लास रूम का स्तर क्या है? साइंस लैब, किस स्तर की है, क्या स्कूल में खेल सुविधाएं हैं?स्विमिंग पूल और कैंटीन के अलावा अन्य जरूरी चीजों की भी जानकारी ली जाएगी।

सीबीएसई के सिटी कोऑर्डिनेटर जावेद आलम कहते हैं कि मूल्यांकन होने से बिना मानक चलने वाले स्कूलों का आसानी से पता चल जाएगा। बोर्ड के इस कदम के बाद शिक्षा की गुणवत्ता को बेहतर किया जा सकेगा।

जैसी सुविधाएं, वैसी फीस
जावेद आलम के मुताबिक एक्रिडेशन के बाद अभिभावक भी जान सकेंगे कि किस स्कूल में कौन सी सुविधाएं हैं। स्कूल में किस तरह का इन्फ्रास्ट्रक्चर है। शिक्षक की योग्यता व अनुभव के अलावा उन्हें कितना वेतन दिया जा रहा है, यह भी पता चलेगा। यही नहीं, फीस के मामले में भी स्कूलों मनमानी नहीं चलेगी। स्कूलों में सुविधाओं के हिसाब से फीस तय होगी।

बेहतर ग्रेड के लिए होगी मशक्कत
जावेद आलम ने बताया कि एक्रिडेशन के अमल में आने के बाद स्कूलों को बेहतर ग्रेड पाने के लिए काफी मशक्कत करनी होगी। विश्वविद्यालयों और महाविद्यालयों में जिस तरह से नैक एक्रिडेशन करता है, ठीक उसी तरह सीबीएसई भी एक्रिडेशन कराएगा। इस बात की भी जानकारी देनी होगी कि स्कूल में महिला शिक्षिक और बच्चों की सुरक्षा के इंतजाम किस तरह हैं और स्कूल की बसें व गाड़ियां कितनी हैं।

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