बॉलिवुड ऐक्टर अक्षय कुमार की पिछली रिलीज 'केसरी' को बॉक्स ऑफिस पर जबरदस्त रिस्पॉन्स मिला था। फिल्म को क्रिटिक्स के साथ-साथ दर्शकों ने भी सराहा था। फिल्म में अक्षय की ऐक्टिंग की काफी प्रशंसा हुई थी।
यही नहीं, फिल्म के गाने भी चार्टबस्टर्स में टॉप पर थे जिनमें से एक 'तेरी मिट्टी' काफी पॉप्युलर हुआ था। गाने को बी प्राक ने आवाज दी थी और इसके बोल मनोज मुंतशिर ने लिखे थे।
फिल्म रिलीज के बाद इस गाने को कई पुलिसवाले, सेना के जवान भी गाते दिखे थे और अब एक बार फिर एक जवान का विडियो सोशल मीडिया पर छाया हुआ है जिसे खुद अक्षय कुमार ने शेयर किया है।
विडियो में तीन जवान नजर आ रहे हैं जिसमें से एक, गाने के बोल में थोड़ा ट्विस्ट देते हुए उसे कुछ यूं गा रहा है, 'देश मेरे तू जीता रह, तूने शेर के बच्चे पाले हैं। इक लाल हुआ बलिदान तो क्या, सौ लाल तेरे रखवाले हैं।'
12 सेकंड की इस विडियो क्लिप को शेयर करते हुए अक्षय ने लिखा, 'दिल को छू लेने वाला यह विडियो देखा जिसने मेरा दिन बना दिया। जब आपका छोटा सा ट्रिब्यूट उन लोगों तक पहुंचता है जिनके लिए वह है...इससे ज्यादा आपको और क्या चाहिए? हमारे भारत के वीर को लाखों सलाम।'
बता दें, 'केसरी' आत्मसम्मान और गौरव के लिए लड़ी गई लड़ाइयों में से एक 1897 में सारागढ़ी में लड़े गए एक ऐसे युद्ध की दास्तान है जहां मात्र 21 सिख सैनिकों ने 10 हजार अफगानों से न सिर्फ जमकर लोहा लिया था बल्कि उनके छक्के छुड़ा दिए थे।
यही नहीं, फिल्म के गाने भी चार्टबस्टर्स में टॉप पर थे जिनमें से एक 'तेरी मिट्टी' काफी पॉप्युलर हुआ था। गाने को बी प्राक ने आवाज दी थी और इसके बोल मनोज मुंतशिर ने लिखे थे।
फिल्म रिलीज के बाद इस गाने को कई पुलिसवाले, सेना के जवान भी गाते दिखे थे और अब एक बार फिर एक जवान का विडियो सोशल मीडिया पर छाया हुआ है जिसे खुद अक्षय कुमार ने शेयर किया है।
विडियो में तीन जवान नजर आ रहे हैं जिसमें से एक, गाने के बोल में थोड़ा ट्विस्ट देते हुए उसे कुछ यूं गा रहा है, 'देश मेरे तू जीता रह, तूने शेर के बच्चे पाले हैं। इक लाल हुआ बलिदान तो क्या, सौ लाल तेरे रखवाले हैं।'
12 सेकंड की इस विडियो क्लिप को शेयर करते हुए अक्षय ने लिखा, 'दिल को छू लेने वाला यह विडियो देखा जिसने मेरा दिन बना दिया। जब आपका छोटा सा ट्रिब्यूट उन लोगों तक पहुंचता है जिनके लिए वह है...इससे ज्यादा आपको और क्या चाहिए? हमारे भारत के वीर को लाखों सलाम।'
बता दें, 'केसरी' आत्मसम्मान और गौरव के लिए लड़ी गई लड़ाइयों में से एक 1897 में सारागढ़ी में लड़े गए एक ऐसे युद्ध की दास्तान है जहां मात्र 21 सिख सैनिकों ने 10 हजार अफगानों से न सिर्फ जमकर लोहा लिया था बल्कि उनके छक्के छुड़ा दिए थे।