तारक मेहता का उल्टा चश्मा के इस एपिसोड में जेठालाल अब्दुल और बाबू चिपके को नीबू खरीदने भेजता है। जेठालाल सुझाव देता है कि टप्पू को बापू जी से बात करने के लिए भेजना चाहिए। इसके बाद वह अपने दादाजी से मिलने जाता है और उनको अय्यर के सुझाए हुए समााधान के लिए राजी करता है। इसके बाद बापू जी सभी गोकुलधाम वासियों को बुलाते हैं।
सभी बापू जी को एक झूले पर बैठा देते हैं जिससे वे नीबू का रस निकाल सकें और बापू जी को दरवाजे से छुटकारा मिले। गोलकुलधाम के लोग नीबू निचोड़ते हैं। जेठालाल बापू जी को अपने पैर नीबू के पानी में डालने के लिए कहता है।
अय्यर चंपक चाचा से पूछता है कि क्या उन्हें कोई अंतर महसूस हो रहा है। बापू जी अपने पैर पानी से बाहर निकालते हैं। अब वह पैर की उंगलियां हिला पा रहे हैं। यह देखकर जेठालाल काफी राहत महसूस करता है। बापू जी भी खुशी से नाचने लगते हैं। अपनी आजादी की खुशी मनाने के लिए वह कम्पाउंड में भी जाते हैं।
बापू जी सभी गोकुलधाम वासियों को उनके प्यार और मशक्कत के लिए धन्यवाद देते हैं। जेठालाल बापू जी की मदद करने के लिए अय्यर को धन्यवाद देता है। बाबू चिपके अपना काम खत्म करके चला जाता है।
जेठालाल बापू जी के पैर दबाता है। वहीं टप्पू जेठालाल के पैर दबाने आ जाता है। इसे देखकर बापू जी इमोशनल हो जाते हैं और जेठालाल और टप्पू की तारीफ करते हैं।
सभी बापू जी को एक झूले पर बैठा देते हैं जिससे वे नीबू का रस निकाल सकें और बापू जी को दरवाजे से छुटकारा मिले। गोलकुलधाम के लोग नीबू निचोड़ते हैं। जेठालाल बापू जी को अपने पैर नीबू के पानी में डालने के लिए कहता है।
अय्यर चंपक चाचा से पूछता है कि क्या उन्हें कोई अंतर महसूस हो रहा है। बापू जी अपने पैर पानी से बाहर निकालते हैं। अब वह पैर की उंगलियां हिला पा रहे हैं। यह देखकर जेठालाल काफी राहत महसूस करता है। बापू जी भी खुशी से नाचने लगते हैं। अपनी आजादी की खुशी मनाने के लिए वह कम्पाउंड में भी जाते हैं।
बापू जी सभी गोकुलधाम वासियों को उनके प्यार और मशक्कत के लिए धन्यवाद देते हैं। जेठालाल बापू जी की मदद करने के लिए अय्यर को धन्यवाद देता है। बाबू चिपके अपना काम खत्म करके चला जाता है।
जेठालाल बापू जी के पैर दबाता है। वहीं टप्पू जेठालाल के पैर दबाने आ जाता है। इसे देखकर बापू जी इमोशनल हो जाते हैं और जेठालाल और टप्पू की तारीफ करते हैं।