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सॉफ्ट टिशू Cancer की वजह से हुआ Arun Jaitley का निधन, जानें इस बीमारी के बारे में

पूर्व केंद्रीय वित्त मंत्री अरुण जेटली (Arun Jaitley) का निधन हो गया है। पिछले 1 साल से भी ज्यादा समय से अरुण जेटली बीमार चल रहे थे। उन्हें किडनी के साथ-साथ सॉफ्ट टिशू कैंसर (Soft Tissue Cancer) की भी समस्या थी। क्या है ये बीमारी, यहां जानें।

नवभारतटाइम्स.कॉम 24 Aug 2019, 1:42 pm
पूर्व वित्त मंत्री अरुण जेटली का 66 साल की उम्र में निधन हो गया। उन्हें एक साथ कई बीमारियां हो गई थीं जिस वजह से उन्हें दिल्ली के एम्स में भर्ती कराया गया था और पिछले कुछ दिनों से वह वेंटिलेटर पर थे। लेकिन शनिवार 24 अगस्त को उनका निधन हो गया। अरुण जेटली को किडनी के अलावा, कैंसर और डायबीटीज की भी समस्या थी। उन्हें सांस लेने में तकलीफ की समस्या के बाद एम्स में भर्ती कराया गया था लेकिन उन्हें बचाया नहीं जा सका।
नवभारतटाइम्स.कॉम arun jaitley suffered from soft tissue cancer know everything about this disease
सॉफ्ट टिशू Cancer की वजह से हुआ Arun Jaitley का निधन, जानें इस बीमारी के बारे में


सॉफ्ट टिशू कैंसर से पीड़ित थे जेटली
दरअसल, अरुण जेटली को किडनी संबंधी बीमारी थी जिसकी वजह से मई 2018 में उनका किडनी ट्रांसप्लांट किया गया था। लेकिन किडनी के साथ-साथ जेटली कैंसर से भी जूझ रहे थे। उनके बायें पैर में सॉफ्ट टिशू सार्कोमा कैंसर हो गया था जिसकी सर्जरी के लिए जेटली इसी साल जनवरी में अमेरिका भी गए थे जिसके बाद उनका कीमो सेशन भी हुआ लेकिन उनकी सेहत में कोई सुधार नहीं हुआ और आखिरकार उनका निधन हो गया। तो आखिर क्या है सॉफ्ट टिशू कैंसर हम आपको बताते हैं...

सभी सॉफ्ट टिशू ट्यूमर कैंसरस नहीं होते
वैसे तो हमारे शरीर में कई तरह के सॉफ्ट टिशू ट्यूमर होते हैं लेकिन सभी कैंसरस नहीं होते। सॉफ्ट टिशू में कई मामूली ट्यूमर भी होते हैं जिसका मतलब है कि इनमें कैंसर नहीं होता और वे शरीर के दूसरे हिस्सों में फैल नहीं सकते। लेकिन जब इस तरह की बीमारी के साथ सार्कोमा शब्द जुड़ जाता है तो इसका मतलब है कि उस ट्यूमर में कैंसर विकसित हो गया है और वह घातक है।

हाथ या पैर की हड्डी या मसल्स में शुरू होता है सार्कोमा
सार्कोमा एक तरह का कैंसर है जो हड्डी या मांसपेशियों के टिशू में शुरू होता है। बोन और सॉफ्ट टिशू सार्कोमा मुख्य तरह का सार्कोमा होता है। सॉफ्ट टिशू सार्कोमा, फैट, मसल्स, नर्व्स, फाइबर टिश्यू, रक्त धमनियां या फिर डीप स्किन टिशू में विकसित होता है। वैसे तो ये शरीर के किसी भी हिस्से में पाए जा सकते हैं लेकिन मुख्य तौर पर सॉफ्ट टिशू कैंसर की शुरुआत हाथ या पैर से होती है। 50 से भी ज्यादा अलग-अलग तरह का होता है सॉफ्ट टिशू सार्कोमा। इनमें से कुछ तो बेहद रेयर होते हैं।

सामान्य लक्षण
- शरीर के किसी भी हिस्से में कोई नई गांठ दिखे या फिर कोई गांठ जो बढ़ रही हो
- पेट में दर्द जो हर दिन धीरे-धीरे बढ़ रहा हो
- स्टूल या वॉमिटिंग में खून आना

वैसे तो यह लक्षण किसी और बीमारी के भी हो सकते हैं लेकिन इन्हें हल्के में न लें और डॉक्टर से तुरंत जांच करवाएं।

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