नई दिल्ली
दिल्ली की एक कोर्ट ने सोमवार को कहा कि सीएम अरविंद केजरीवाल ने दिल्ली ऐंड डिस्ट्रिक्ट क्रिकेट असोसिएशन (डीडीसीए) घोटाला मामले में 'ट्रायल में देरी के के लिए टालमटोल' का रवैया अपना रहे हैं। इसके साथ ही कोर्ट ने केजरीवाल को समन जारी करते हुए वित्त मंत्री अरुण जेटली द्वारा दायर मानहानि के मुकदमे की सुनवाई के दौरान उपस्थित रहने का आदेश दिया।
पटियाला हाउस कोर्ट ने शनिवार को वित्त मंत्री अरुण जेटली द्वारा दायर मानहानि याचिका मामले में अपना फैसला सुरक्षित रखा था। अपने ऊपर भ्रष्टाचार का आरोप लगाए जाने के लेकर अरुण जेटली ने डीडीसीए और इसके उपाध्यक्ष अरविंद केजरीवाल और बीजेपी के निलंबित सांसद कीर्ति आजाद के खिलाफ मानहानि और आपराधिक केस दर्ज किया था।
डीडीसीए और चौहान के वकील संग्राम पटनायक ने कहा, 'केजरीवाल ने डीडीसीए में आर्थिक अनियमितताओं के साथ ही सेक्स रैकेट चलने का भी आरोप लगाया था। उन्होंने आरोप लगाया था कि किसी भी टीम के लिए खिलाड़ियों को खेलने के लिए सेक्स का सौदा किया जाता था। सीआरपीसी के तहत आपराधिक मानहानि केलिए यह सभी बातें काफी हैं।'
जेटली और चौहान ने याचिका में कहा, 'केजरीवाल और आजाद के सभी आरोप केवल जनता की आंखों में बने रहने के लिए और राजनीतिक फायदा उठाने के लिए लगाया था। इन झूठे आरोपों से देश-विदेश में हजारों क्रिकेट प्रेमियों की नजरों में हमारी और संस्था की छवि खराब हुई थी।'
इस मामले में कोर्ट ने चौहान का बयान पहले ही दर्ज कर लिया था। कोर्ट अब 25 मार्च को केजरीवाल और AAP के अन्य नेताओं के खिलाफ आरोप तय करेगी।
दिल्ली की एक कोर्ट ने सोमवार को कहा कि सीएम अरविंद केजरीवाल ने दिल्ली ऐंड डिस्ट्रिक्ट क्रिकेट असोसिएशन (डीडीसीए) घोटाला मामले में 'ट्रायल में देरी के के लिए टालमटोल' का रवैया अपना रहे हैं। इसके साथ ही कोर्ट ने केजरीवाल को समन जारी करते हुए वित्त मंत्री अरुण जेटली द्वारा दायर मानहानि के मुकदमे की सुनवाई के दौरान उपस्थित रहने का आदेश दिया।
पटियाला हाउस कोर्ट ने शनिवार को वित्त मंत्री अरुण जेटली द्वारा दायर मानहानि याचिका मामले में अपना फैसला सुरक्षित रखा था। अपने ऊपर भ्रष्टाचार का आरोप लगाए जाने के लेकर अरुण जेटली ने डीडीसीए और इसके उपाध्यक्ष अरविंद केजरीवाल और बीजेपी के निलंबित सांसद कीर्ति आजाद के खिलाफ मानहानि और आपराधिक केस दर्ज किया था।
डीडीसीए और चौहान के वकील संग्राम पटनायक ने कहा, 'केजरीवाल ने डीडीसीए में आर्थिक अनियमितताओं के साथ ही सेक्स रैकेट चलने का भी आरोप लगाया था। उन्होंने आरोप लगाया था कि किसी भी टीम के लिए खिलाड़ियों को खेलने के लिए सेक्स का सौदा किया जाता था। सीआरपीसी के तहत आपराधिक मानहानि केलिए यह सभी बातें काफी हैं।'
जेटली और चौहान ने याचिका में कहा, 'केजरीवाल और आजाद के सभी आरोप केवल जनता की आंखों में बने रहने के लिए और राजनीतिक फायदा उठाने के लिए लगाया था। इन झूठे आरोपों से देश-विदेश में हजारों क्रिकेट प्रेमियों की नजरों में हमारी और संस्था की छवि खराब हुई थी।'
इस मामले में कोर्ट ने चौहान का बयान पहले ही दर्ज कर लिया था। कोर्ट अब 25 मार्च को केजरीवाल और AAP के अन्य नेताओं के खिलाफ आरोप तय करेगी।