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दिल्ली हिंसा: मुस्लिम परिवार का घर फूंकने जा रहे थे उपद्रवी, बीजेपी नेता ने बचा ली जिंदगी!

दिल्ली के यमुना विहार इलाके में घर के बाहर नारों का शोर था। वहां मौजूद सभी लोगों के जेहन में एक खौफ पसर चुका था। शाहिद सिद्दीकी का परिवार घर से बाहर निकलने की कोशिश में जुटा था तभी...

हिमांशु तिवारी | नवभारतटाइम्स.कॉम 26 Feb 2020, 1:54 pm

हाइलाइट्स

  • यमुना विहार से बीजेपी पार्षद हैं प्रमोद गुप्ता, बोले- उपद्रवियों ने बहुत उपद्रव किया
  • प्रमोद गुप्ता ने मुस्लिम परिवार का घर जलने से बचाया, शाहिद ने जताया आभार
  • शाहिद सिद्दीकी कहते हैं, प्रमोद गुप्ता का परिवार बहुत अच्छा है, हमारे उनसे घरेलू संबंध
  • दिल्ली हिंसा के बाद ऐक्शन में आए आला अधिकारी, चप्पे-चप्पे पर रखी जा रही है नजर
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नवभारतटाइम्स.कॉम सांप्रदायिक सौहार्द की पेश की मिसाल
सांप्रदायिक सौहार्द की पेश की मिसाल
हिमांशु तिवारी, नई दिल्ली
धुएं के गुबार के बीच लुकती-छिपती हुई दिल्ली, जहां रास्ते पर बिखरे हुए पत्थर वहां के ताजा हालात की गवाही दे रहे हैं। नागरिकता संशोधन कानून (CAA) के नाम पर शहर में उपद्रव किया गया। कहीं गाड़ियां फूंक दी गईं तो कहीं दुकानों को आग के हवाले कर दिया गया। हिंसा की जबरदस्त आग से निकली कालिख ने लोगों के जेहन में दहशत पैदा कर दी है। हालांकि, इन सबके बीच एक हकीकत ऐसी भी है, जो सांप्रदायिक सौहार्द की मिसाल बनी। एक नेता के तौर पर, एक जनप्रतिनिधि के रूप में यमुना विहार के पार्षद प्रमोद गुप्ता ने जो किया है, उनके काम की अब लोगों के बीच सराहना की जा रही है। एनबीटी ऑनलाइन ने प्रमोद गुप्ता से खास बात की।
प्रमोद गुप्ता कहते हैं, 'सोमवार रात नूर इलाही क्षेत्र से कुछ लोग हाथों में पत्थर लेकर लगातार बढ़ रहे थे। उन्होंने कई गाड़ियों को भी आग के हवाले कर दिया था। जब उपद्रवियों ने घरों में पत्थरबाजी की तो कई लोग जख्मी हो गए। मेरा बेटा पीयूष (28) के सिर पर चोट आई थी। आक्रोशित लोग घरों से बाहर आ गए। उन्होंने उपद्रवियों को दौड़ाना शुरू कर दिया। इसी बीच कुछ लोग मेरे ऑफिस के नजदीक बने शाहिद सिद्दीकी के घर के पास चले गए। वहां पर हंगामा शुरू हो गया। घर के बाहर खड़ी गाड़ियों में आग लगा दी गई।'

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प्रमोद जी का मकान मेरे घर के सामने ही है। हमारे उनके परिवार से गहरे ताल्लुकात हैं। उनका परिवार बहुत अच्छा है। हम सभी मिलजुलकर रहते हैं।
शाहिद सिद्दीकी, प्रमोद गुप्ता के पड़ोसी
'मैं उन लोगों को समझाता रहा और...'
बीजेपी पार्षद प्रमोद ने कहा, 'मैं तुरंत हंगामा कर रहे लोगों के बीच गया। आक्रोशित लोग घर फूंकने की तैयारी कर रहे थे। मैं उनके सामने अब हाथ जोड़कर खड़ा था। मैं काफी देर तक उन सभी लोगों को समझाता रहा। आखिरकार उन लोगों ने मेरी बात मान ली और वहां से चले गए। हमें यह याद रखना होगा कि हमारा धर्म इंसानियत है। हमें अपने लोगों के लिए खड़े होना होगा।'

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शाहिद ने जताया आभार
शाहिद सिद्दीकी कहते हैं, 'जैसे ही वहां नारेबाजी शुरू हुई तो हम वहां से निकलने की योजना बनाने लगे। उपद्रवियों ने हमारे किराएदार के साथ बदसलूकी की। बाहर हमारी गाड़ियां खड़ी थीं, उन्हें फूंक दिया गया। प्रदर्शनकारी हमारे घर को भी जलाना चाहते थे लेकिन प्रमोद जी ने ऐसा करने से उन लोगों को रुकवा दिया। इसी बीच हम वहां से निकल आए।'

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