वाराणसीः उत्तर प्रदेश के वाराणसी में स्थित ज्ञानवापी मस्जिद परिसर का सर्वे एएसआई यानी आर्कियॉलजिकल सर्वे ऑफ इंडिया से कराने के फैसले पर आज यानी कि सोमवार को सुनवाई होगी। इससे पहले मामले पर सुनवाई करते हुए कोर्ट ने 28 नवंबर की तारीख दी थी। इसके अलावा मस्जिद में मिले कथित शिवलिंग के संरक्षण की अवधि बढ़ाने का फैसला दिया था। बता दें कि ज्ञानवापी मस्जिद के सर्वे के लिए दायर याचिका को निचली अदालत ने खारिज कर दिया था। इसके बाद इस फैसले को हाई कोर्ट में चुनौती दी गई थी।
मामले पर पिछली सुनवाई में एएसआई ने हाई कोर्ट में अपना हलफनामा पेश किया था। इस हलफनामे में एएसआई ने कहा था कि अगर कोर्ट आदेश करेगी तो ज्ञानवापी परिसर की सच्चाई पता लगाने के लिए वह इसका सर्वे करने की कोशिश करेगी। एएसआई के सर्वे करने के फैसले को इंतजामिया मसाजिद कमिटी और यूपी सुन्नी सेंट्रल वक्फ बोर्ड ने इलाहाबाद हाई कोर्ट में चुनौती दी है।
ज्ञानवापी मस्जिद के कोर्ट कमिश्नर की अध्यक्षता में हुए सर्वे के दौरान कथित शिवलिंग मिलने की बात कही गई थी। हिंदू पक्ष का कहना है कि इसे सिद्ध करने और सच्चाई सामने लाने के लिए मस्जिद का सर्वे होना चाहिए। मामले को लेकर पिछली सुनवाई में कोर्ट ने दोनों पक्षों की दलीलें सुनी थीं और फाइनल सुनवाई के लिए 28 दिसंबर की तारीख तय की थी।
मामले पर पिछली सुनवाई में एएसआई ने हाई कोर्ट में अपना हलफनामा पेश किया था। इस हलफनामे में एएसआई ने कहा था कि अगर कोर्ट आदेश करेगी तो ज्ञानवापी परिसर की सच्चाई पता लगाने के लिए वह इसका सर्वे करने की कोशिश करेगी। एएसआई के सर्वे करने के फैसले को इंतजामिया मसाजिद कमिटी और यूपी सुन्नी सेंट्रल वक्फ बोर्ड ने इलाहाबाद हाई कोर्ट में चुनौती दी है।
ज्ञानवापी मस्जिद के कोर्ट कमिश्नर की अध्यक्षता में हुए सर्वे के दौरान कथित शिवलिंग मिलने की बात कही गई थी। हिंदू पक्ष का कहना है कि इसे सिद्ध करने और सच्चाई सामने लाने के लिए मस्जिद का सर्वे होना चाहिए। मामले को लेकर पिछली सुनवाई में कोर्ट ने दोनों पक्षों की दलीलें सुनी थीं और फाइनल सुनवाई के लिए 28 दिसंबर की तारीख तय की थी।