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रूस से तनाव, नाटो देश जर्मनी खरीदेगा अमेरिका का सबसे घातक F-35 फाइटर जेट

Germany F35 Fighter Jet: जर्मनी ने अमेरिका से F35 फाइटर जेट खरीदने का फैसला किया है। जर्मनी के इस फैसले के कारण स्थानीय डिफेंस इंडस्ट्री नाराज हैं। स्थानीय ठेकेदारों ने कहा है कि इस सौदे से अमेरिका पर निर्भरता बढ़ेगी। जो फायदा घरेलू इंडस्ट्री को होना चाहिए था वह अमेरिका को मिलेगा।

Curated byयोगेंद्र मिश्रा | नवभारतटाइम्स.कॉम 22 Nov 2022, 7:30 pm
बर्लिन: यूक्रेन पर हमला कर रूस ने पूरे यूरोप में खतरा बढ़ा रखा है। इसे देखते हुए अब जर्मनी अपनी सेना को मजबूत करने में लगा है। जर्मनी ने अमेरिका के F35 लड़ाकू विमानों को खरीदने का फैसला किया है। जर्मनी के इस फैसले ने स्थानीय डिफेंस इंडस्ट्री को एक बड़ा झटका दिया है। अमेरिका से फाइटर जेट खरीदने के फैसले पर स्थानीय रक्षा उद्योग के ठेकेदारों ने कहा कि इस सौदे से सिर्फ निर्भरता ही बढ़ेगी। जो मुनाफा घरेलू उत्पादकों को मिलना चाहिए था वह अब अमेरिका को मिलेगा।
नवभारतटाइम्स.कॉम f35 fighter jet
रूस का F35 फाइटर जेट।


यूरेशियन टाइम्स की रिपोर्ट के मुताबिक जर्मनी की डिफेंस इंडस्ट्री के प्रतिनिधियों ने इस फैसले की खुल कर आलोचना की है। कुछ ने इस बात पर भी ध्यान दिलाया कि इस जेट के मेंटीनेंस के लिए आपको अमेरिका पर निर्भर रहना होगा। जर्मन प्रकाशन वार्टशाफ्ट का हवाला देते हुए यूरेशियन टाइम्स ने लिखा कि जर्मन एयरोस्पेस उद्योग का संघीय संघ (BDLI) इस डील में कही नहीं है। वह F35 की मरम्मत और रखरखाव में भी शामिल नहीं होगा। BDLI ने इस फैसले को अमेरिका पर निर्भरता बढ़ाने वाला बताते हुए आलोचना की।
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अमेरिका के दबाव में लिया फैसला!
BDLI के अध्यक्ष मार्टिन क्रोएल ने कहा, 'जर्मन उद्योग को समान आधार पर इस मुद्दे से निपटना चाहिए और हर चीज अमेरिका में बैठे दोस्तों पर नहीं छोड़ना चाहिए।' हालांकि क्रोएल ने यह भी माना की जर्मनी की फर्मों की भागीदारी से अधिग्रहण की लागत बढ़ सकती है और फायदा अमेरिका उठा सकता है। इस साल मार्च में जर्मनी ने F-35 खरीदने का फैसला किया था। माना जा रहा है कि यूक्रेन युद्ध के दौरान अमेरिका ने हथियारों में खरीद का दबाव बनाया है और इसी कारण यह डील हुई है।
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टोरनेडो विमानों को बदलेगा जर्मनी
F-35 अधिग्रहण का फैसला तब लिया गया था, जब फ्रांस, जर्मनी और स्पेन के पास अपने संयुक्त फ्यूचर कॉम्बैट एयर सिस्टम (FCAS) कार्यक्रम के जरिए बेहतर लड़ाकू विमान हैं। अमेरिका का राष्ट्रपति रहने के दौरान डोनाल्ड ट्रंप ने जर्मनी को अमेरिका का एक सहयोगी बताया था और कहा था कि अमेरिका पर वित्तीय बोझ कम करने के लिए रक्षा खर्च में वृद्धि करनी चाहिए। जर्मनी के टोरनेडो लड़ाकू विमान को अमेरिका का F35 रिप्लेस करेगा।
लेखक के बारे में
योगेंद्र मिश्रा
नवभारत टाइम्स में डिजिटल कंटेंट प्रोड्यूसर योगेंद्र मिश्र ने इलाहाबाद विश्वविद्यालय से ग्रेजुएशन किया है। इन्हें डिजिटल पत्रकारिता में लगभग 5 साल का अनुभव है। न्यूज नेशन, टीवी 9 भारतवर्ष से होते हुए वह अब नवभारत टाइम्स में अपना सफर जारी रखे हुए हैं। देश विदेश और साइंस से जुड़ी खबरों में इन्हें खास रुचि है।... और पढ़ें

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